HomeNEW UPDATEKachnar kya hai?  Iske fayde, upyog aur pahchan

Kachnar kya hai?  Iske fayde, upyog aur pahchan

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परिचय(Introduction)

Kachnar, आयुर्वेद में भी कचनार के नाम से ही जाना जाता है|इंग्लिश में इसे Mountain Ebony के नाम से जाना जाता है|साथ ही इसका वैज्ञानिक नाम Bauhinia Variegata linn है|यहCAEALPINACEAE(LEGUMINOSAE) प्रजाति का है|यह एक प्रसिद्ध औषधि माना गया है|इसका उपयोग आयुर्वेद में प्राचीन काल से ही कफ निसारक,ताकत एवं मधुमेह जैसे समस्याओं के लिए उपयोग में लाया जाता है|

Kachnar

Kachnar(Mountain Ebony) का संक्षिप्त परिचय

सामान्यत: कचनार पहाड़ी क्षेत्र,ग्रामीण एवं देहात इलाकों पर ज्यादातर पाया जाता है|

यह एक छोटा पेड़ के आकार का होता है|समय के साथ-साथ धीरे-धीरे पेड़ परिवर्तित होता है|

हिंदी में इसे कचनार,इंग्लिश में Mountain Ebony) के नाम पर जाना जाता है|

यह आयुर्वेदिक औषधि के जगत में बहुत ही महत्वपूर्ण स्थान रखता है|

साथ ही इससे विभिन्न प्रकार के रोगों का निवारण होता है|

Kachnar की बढ़ती मांग

कचनार एक बहुत ही उपयोगी एवं कारगर प्राकृतिक आयुर्वेदिक औषधि के रूप में जानी जाती हैं|

इसकी उपयोगिता को देखते हुए आज के समय में भी इसकी बहुत मांग बनी रहती है|

यह हमारे दैनिक जीवन के स्वास्थ्य संबंधित कार्यों के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण औषधि के रूप में कार्य करती है| 

Kachnar के बारे में आपको किन-किन चीजों के बारे में जानकारी मिलेगी

इस लेख के माध्यम से कचनार के बारे में आपके संपूर्ण जानकारी मिलने वाली है|

इसमें आपको इसके स्वरूप,रासायनिक संगठन,तत्वों एवं गुणों के अलावाआपको कचनार के उपयोग के बारे में जानकारी मिलने वाली है|

साथ ही इसके लिए विशेष सावधानियां,सीमाएं एवं आधुनिक विज्ञान में इसका महत्व क्या है|

इन सारी बातों के बारे में आपको जानकारी मिलने वाली है|

Kachnar का आयुर्वेदिक औषधि के रूप में परिभाषा(Definition of mountain ebony as an ayurvedic medicine)

कचनार(Mountain Ebony) आयुर्वेदिक औषधि के श्रेणी में

इसे आर्युवेदिक श्रेणी में इसलिए रखते हैं क्योंकि यह बहु उपयोगी औषधि के रूप में जाना जाता है|क्योंकि यह पेड़ जो की पूर्ण रूप से प्राकृतिक एवं आयुर्वेदिक औषधि वनस्पति के रूप में पाया जाता है|इस कारण इसकी महत्वता बढ़ जाती है|

आईए हम कचनार के आकार प्रकार एवं स्वरूप को समझते हैं|

इसका आकार प्रकार ऐसे तो मध्य करके वृक्ष के समान ही होता है इसके पत्ते दो खंड में विभाजित होते हैं|

इसके फूलों में सुगंध होती है साथ ही आकर में बड़े और गुलाबी रंगों में होते हैं|

कुछ फूल बैंगनी में सफेद रंग के भी होते हैं|

इसका स्वाद ऐसे तो कड़वा होता है परंतु इसे सब्जी के रूप में भी खाया जाता है|

Kachnar को किन स्रोतों में पाया जाता है?

साधारणत: कचनार(Mountain Ebony) का जो नाम है|यह वृक्ष भी उसी तरह का ही है| यह ज्यादातर पहाड़ी जंगली क्षेत्र में ही पाया जाता है| यह पूर्ण रूप से प्राकृतिक वनस्पति की श्रेणी में आता है|इसे पाने के लिए आपको जंगली एवं पहाड़ी स्रोतों पर ही तलाशना होगा|

ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्र में बाजारों में इसके फूलों एवं नए कोमल पत्तों की बिक्री होती है|साथ ही लोग इसे सब्जी के रूप में चाव से खाते हैं|

Kachnar का आयुर्वेदिक औषधि के रूप में रासायनिक गुण एवं स्वास्थ्य के लिए विशेष महत्व(The chemical  properties and health benefits of mountain ebony as an ayurvedic medicine)

कचनार में पाए जाने वाले महत्वपूर्ण एवं सक्रिय गुण

इस वृक्ष के सभी भाग बहुत ही विशेष होते हैं|क्योंकि इन वृक्ष के सारे भागों में कुछ ना कुछ विशेष औषधीय के निर्माण में लाभ मिलता है|फिर भी इसमें सबसे विशेष इसकी छाल एवं फुल होती है|

सबसे पहले हम इसके छाल की बात करें,तो इनमें शर्करा एवं टेनिनस की भरपूर मात्रा पाई जाती है|

इसके अलावा इसके फूलों की बात करें तो इसमें  फ्लावोनोइड्स, टैनिन्स, एल्कलॉइड्स जैसे विशेष गुणों की प्राप्ति होती है|इस कारण से इस वृक्ष की महत्वता आयुर्वेदिक जगत में बढ़ जाती है|यदि हम इसके बीज एवं चल की बात करें तो इसमें ग्लाइकोसाइड,किमफेरोल ग्लाइकोसाइड जैसे महत्वपूर्ण घटक पाए जाते हैं|

कचनार का हमारे शरीर पर बेहतर प्रभाव के साथ-साथ पाए जाने वाले विशेष गुण

यह हमारे स्वास्थ्य के लिए बहुत ही फायदेमंद चीज है|क्योंकि इसके हर भाग की एक विशेष उपयोगिता रहती है|यह हमारे दैनिक जीवन में उपयोग होने वाले खाद्य पदार्थों के रूप में भी आती है|इसकी सबसे बड़ी विशेषता यह है कि यह ग्राही खाद्य पदार्थ है|यह एक आयुर्वेद शब्द है जिसका मतलब होता है-जो कि किसी भी चीज को अवशोषण करने की क्षमता रखता हो|साधारण भाषा में कहा जाए तो यह शरीर में होने वाली समस्या जैसे-दस्त या फिर अनचाहे द्रव को ग्रहण करके उन्हें नियंत्रित रखती है|साथ ही शरीर की पाचन क्रिया में सहायक होती है|

इसके अलावा इसके उपयोग से शरीर को ताकत मिलती है|मतलब बल मिलता है|साथ ही साथ या कफ जैसे समस्याओं में भी आराम दिलाता है|चुकी आप बहुत ही बेहतरीन औषधि के रूप में प्रयोग होता है|इसकी विशेषता में माना जाता है कि यह शरीर की सूजन(inflammation) को कम करता है|क्योंकि कचनार में एंटी इन्फ्लेमेटरी गुणों की भरपूर मात्रा होती है|

Kachnar के आयुर्वेदिक औषधि के रूप में उपयोग एवं इससे होने वाले विभिन्न फायदे(The use of the mountain ebony as an ayurvedic medicine and its variमंदous benefits)

कचनार, पूर्ण रूप से प्राकृतिक वनस्पति होने के कारण इसका बहुत ही बेहतर तरीके से प्रयोग किया जाता है|

इस कारण इसकी बहुत ही ज्यादा मांग रहती है|

यह स्वास्थ संबंधी समस्याओं के लिए बहुत ही लाभदायक माना जाता है|

जो लोग भी शारीरिक रूप से,कमजोरी,थकान महसूस करते हैं वैसे लोगों के लिए यह रामबाण की तरह काम करता है|

कचनार का बेहतर उपयोग

सबसे पहले हम इनके फूलों के उपयोग को समझते हैं|इसके फूलों से

  • शरीर में बनी हुई या सूजी हुई कुछ ग्रंथियां या फिर बनी हुई गांठ के समाधान में काम आती है|यह एक प्रकार का गंभीर रोग होता है|जो की खासकर गर्दन, बगल या शरीर के किसी भी अंग में गांठ के रूप में बन जाती है|इसके इलाज के लिए यह बेहतर औषधि का काम करती है|
  • शरीर में बढ़ रही अनचाहे फैट एवं मोटापे को घटता है|
  • मधुमेह की समस्या से राहत दिलाता है|

कचनार की छाल का महत्व

  • यह चर्म रोगों के इलाज के लिए फायदेमंद होता है|
  • पेट की समस्या जैसे आंत क्रीमी इत्यादि में काम करता है|
  • स्वास संबंधी रोगों में सहायक होता है|

कचनार में सुखी कलियों का महत्व

  • इससे अर्स से संबंधित होने वाली समस्याओं में
  • प्रवाहीका एवं अतिसार जैसी बीमारियों के लिए लाभकारी

इसके अलावा कचनार का हमारे स्वास्थ्य में दीर्घकालीन लाभ मिलता है|यह पूर्ण रूप से प्राकृतिक एवं सुरक्षित विकल्प होता है| इसलिए इसका प्रयोग विभिन्न स्वास्थ्य समस्याओं के लिए प्रयोग किया जाता है|खासकर इसकी छालों एवं फूलों का काढ़ा बनाकर उसमें सोठ का थोड़ा चूर्ण मिलाकर 21 दिन तक रोज सुबह और शाम सेवन करने से लाभ मिलता है|साथ ही खांसी की समस्या के लिए, इसके अलावा विभिन्न प्रकार के स्वास्थ्य समस्याओं में इसका प्रयोग विभिन्न प्रकार एवं तरीकों से किया जाता है|

Kachnar के प्रयोग के लिए कुछ विशेष सावधानियां एवं सीमाएं(some precautions and limitations for the use of mountain ebony)

कचनार पूर्ण रूप से प्राकृतिक वनस्पति की श्रेणी में आता है यह हमारे स्वस्थ लाभों के लिए महत्वपूर्ण लाभ दिलाता है|इसके प्रयोग से हमें विभिन्न प्रकार के लाभ मिलते हैं|

लेकिन फिर भी हमें इसके इस्तेमाल से पहले कुछ बातों का विशेष ध्यान देने की जरूरत होती है|आईए इससे जुड़ी खास सावधानियां एवं सीमाओं के बारे में समझते हैं|

  • हालांकि यह  प्राकृतिक है फिर भी आपको इसके सेवन से पहले किसी जानकार या विशेषज्ञ से आवश्यक सलाह लेनी चाहिए|
  • इसके फूल एवं पत्तों को सब्जी के रूप में खाया जाता है|परंतु यह सब के लिए अलग-अलग प्रतिक्रिया करता है|तो विशेष कर गर्भवती महिलाओं एवं बच्चों को न दें|
  • कोई भी व्यक्ति किसी प्रकार के दवाइयां का सेवन कर रहे हो| तो ऐसे लोगों को इसके सेवन से पहले डॉक्टर की परामर्श अवश्य लेना चाहिए|

आधुनिक विज्ञान में कचनार का आयुर्वेदिक रूप से मेल(The harmony between mo dern science and mountain ebony as an ayurvedic medicine)

कचनार का वैज्ञानिक शोधों द्वारा प्रमाणित एवं निर्मित विभिन्न प्रकार की औषधियां

1.यह कैंसर रोधी औषधि होता है|

शोध प्रमाणित:-विशेष अध्ययन के आधार पर कचनार की छाल एवं फूलों में फ्लावॉ नाइट्स और एंटीऑक्सीडेंट की मात्रा पाई जाती हैजो कि शरीर के कैंसर को बढ़ाने वाली कोशिकाओं को रोकते हैं|

इससे निर्मित औषधियां:

  • kachnaar Guggul
  • इसके अलावा कुछ होम्योपैथिक दवाइयां

2.थायराइड एवं गांठ के लिए(Lymph node Swelling)

विशेष शोध:-थायराइड ग्रंथि की सूजन और गले में बनने वाली गांठ की समस्या का समाधान के लिए विशेष रूप से प्रयोग किया जाता है|

-बनने वाले औषधीय:-

  • kachnaar Guggul-कुछ ब्रांड जो इसेऔषधि निर्माण करती है|जैसे डाबर पतंजलि एवं बैद्यनाथ|

उदाहरण के लिए: Guggul,वरुण,त्रिफला एवं कचनार को मिश्रण किया जाता है|

3. महिलाओं के लिए लाभदायक औषधि

शोध प्रमाणित:कचनार में फाइब्रॉयड,पीसीओडी(PCOD),मासिक धर्म जैसे समस्याओं के लिए खास माना गया है|

उदाहरण के लिए: 

  • Kachnaar Guggul महिलाओं के लिए खास लाभदायक
  • PCOD/PCOS कैप्सूल्स

4.पाचन क्रिया एवं लीवर की समस्याओं के लिए

अनेक शोध के द्वारा प्रमाणित होता है कि कचनार की छाल से लीवर की कार्य क्षमता को बेहतर किया जा सकता है|साथ ही पाचन क्रिया को भी मजबूत किया जाता है |

इससे बनने वाली औषधियां:-

  • Kachnar Vati 
  • liver tonic मे लाभदायक

निष्कर्ष(Conclusion)

कचनार(mountain ebony)एक बहुत ही लाभदायक आयुर्वेदिक प्राकृतिक औषधि है|यह हमारे स्वास्थ्य केलिए विभिन्न प्रकार से लाभ पहुंचता है|जैसे मधुमेह,थायराइड,कैंसर संबंधित कोशिकाओं को बढ़ाने से रोकता है|इसके अलावा त्वचा संबंधी रोग और महिलाओं में होने वाले अनेक रोगों के लिए बहुत ही लाभदायक औषधि माना गया है|इसकी उपयोगिता को देखते हुए विभिन्न प्रकार की आयुर्वेदिक एवं मेडिकल कंपनियां, इसका उपयोग कर विभिन्न प्रकार की औषधियां का निर्माण कर रही है|

कुल मिलाकर यह बात साबित होती है कि यदि आप अपने स्वास्थ्य को बेहतर बनाना चाहते हैं|आप अपने स्वास्थ्य के प्रति गंभीर है|तो आपको इन प्राकृतिक एवं आयुर्वेदिक औषधियां के बारे में जानना बहुत जरूरी है|इसके लिए आपको Imhoro.com के साइट पर सारी जानकारी उपलब्ध है|

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल(FAQs)

Q.कचनार से बने आयुर्वेदिक औषधियां हमें कहां से प्राप्त हो सकती है?

A.इसके लिए आपको किसी होम्योपैथिक औषधि सेंटर या फिर आयुर्वैदिक स्टोर से प्राप्त हो सकती है|

Q.क्या इसे कच्चा खाया जा सकता है?

A.नहीं,विशेष कर इसके नए पत्तों एवं फूलों को भाप(Boil) कर खाने से इसमें मौजूद सारे महत्वपूर्ण घटक आपको मिलेंगे|

Q.इसका सेवन से कोई साइड इफेक्ट अथवा नुकसान तो नहीं है?

A.बिल्कुल नहीं,यह पूरी तरह से प्राकृतिक है|इसके सेवन से आपको अनेको लाभ मिलेंगे|

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written by Suraj Horo

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